रायपुर, 29 जुलाई 2025:भारतीय वानिकी अनुसंधान एवं शिक्षा परिषद(ICFRE) के अधीन इंस्टिट्यूट ऑफ वुड साइंस एंड टेक्नोलॉजी (IWST), बेंगलुरु द्वारा “छत्तीसगढ़ राज्य के लिए लकड़ी आधारित औद्योगिक इकाइयों की संभावनाओं का दोहन” विषय पर एक इंटरएक्टिव मीट का आयोजन होटल बाबिलोन इंटरनेशनल, रायपुर में किया गया। कार्यक्रम में अनुसंधान संस्थानों, उद्योगों और सरकारी विभागों के प्रमुख प्रतिनिधियों ने भाग लिया।
कार्यक्रम की शुरुआत श्री राजेश एस. कल्लाजे, आईएफएस, प्रभारी निदेशक, ICFRE-IWST के स्वागत भाषण से हुई। इसके बाद श्री सी. एम. शिवकुमार, आईएफएस, समूह समन्वयक (अनुसंधान), ICFRE-IWST ने संस्थान की गतिविधियों की रूपरेखा प्रस्तुत की।
इसके पश्चात विशेषज्ञों द्वारा कई महत्वपूर्ण तकनीकी प्रस्तुतियाँ दी गईं:
डॉ. शक्ति सिंह चौहान, वैज्ञानिक–जी एवं प्रमुख, WPP डिवीजन, ICFRE-IWST ने कच्ची लकड़ी के वैज्ञानिक प्रसंस्करण द्वारा उसके आर्थिक मूल्य को बढ़ाने की आधुनिक तकनीकों और विधियों को प्रस्तुत किया।
सुश्री डी. सुजाता, वैज्ञानिक–जी एवं प्रमुख, PPPT डिवीजन, ICFRE-IWST ने भारत के प्लाईवुड क्षेत्र की स्थिति, उत्पादन में आ रही चुनौतियों और गुणवत्ता से जुड़े मुद्दों का विस्तृत अवलोकन प्रस्तुत किया।
श्री वेंकट, छत्तीसगढ़ वन विभाग से, ने राज्य में लकड़ी उत्पादन की वर्तमान स्थिति और संभावनाओं पर जानकारी दी।
श्री विश्वेश कुमार, प्रबंध निदेशक, छत्तीसगढ़ राज्य औद्योगिक विकास निगम (CSIDC) ने राज्य सरकार द्वारा लकड़ी आधारित उद्योगों में निवेश को बढ़ावा देने के लिए उपलब्ध विभिन्न नीति प्रोत्साहनों और सहयोग योजनाओं पर प्रकाश डाला।
कार्यक्रम का समापन एक संवादात्मक सत्र के साथ हुआ, जिसमें लकड़ी आधारित उद्योगों, ICFRE-IWST के विशेषज्ञों, वन विभाग और वृक्ष कृषकों के बीच सहयोगपूर्ण विकास को बढ़ावा देने पर चर्चा हुई। इस बैठक से छत्तीसगढ़ के वुड सेक्टर को बढ़ावा देने में मदद मिलेगी।